फ्रेंच लेखिका एनी एनॉक्स को मिला 2022 का साहित्‍य का नोबेल पुरस्‍कार

Image Credit : The Nobel Prize

वर्णिका टीम
, छह अक्टूबर। विश्व साहित्य जगत के लिए एक बड़ी खबर आयी है. साहित्य के नोबेल पुरस्कार की छह अक्टूबर, 2022 को घोषणा कर दी गयी है. एपी के अनुसार, इस साल साहित्य के लिए नोबेल पुरस्कार फ्रांसीसी लेखिका एनी एरनॉक्स को “साहस और लाक्षणिक ​​तीक्ष्णता के साथ व्यक्तिगत स्मृति के अंतस, व्यवस्थाओं और सामूहिक बाधाओं को उजागर करने” वाली उनकी लेखनी के लिये दिया गया है। स्वीडिश अकादमी ने गुरुवार को यह जानकारी दी।

एरनॉक्स की किताबें लिंग और वर्ग से विभाजित समाज के भीतर व्यक्तिगत अनुभवों और भावनाओं - प्रेम, सेक्स, गर्भपात, शर्म - की गहराई से पड़ताल करती हैं। वह गर्भपात और गर्भनिरोधक के लिए महिलाओं के अधिकारों का पुरजोर बचाव करती हैं. एरनॉक्स (82) पूर्णकालिक लेखिका बनने से पहले एक शिक्षिका के तौर पर काम करती थीं। उनकी 20 से अधिक पुस्तकें हैं, जिनमें से अधिकांश बहुत छोटी, उनके जीवन की घटनाओं और उनके आसपास के लोगों के जीवन की घटनाएं हैं। ये किताबें यौन टकराव, गर्भपात, बीमारी और उनके माता-पिता की मृत्यु की बेलाग तस्वीर पेश करती हैं। एनी का जन्म 1940 में हुआ था और वो नॉरमेन्डी के एक छोटे कस्बे येवेटोट में बड़ी हुईं। उनके माता-पिता एक ग्रोसरी स्टोर और एक कैफे चलाते थे। बचनपन में उनके पास अधिक संसाधन नहीं थे. उनके शुरूआती प्रोजेक्ट्स में अपने ग्रामीण परिवेश से उनका संर्घष लगातार दिखता है। उन्होंने कल्पना से परे लेखन की सीमाओं को चुनौती दी।  

साहित्य के लिये नोबेल समिति के अध्यक्ष एंडर्स ओल्सन ने कहा कि एरनॉक्स का काम अक्सर “खरा और साधारण भाषा में लिखा बेदाग होता है।” उन्होंने कहा कि एरनॉक्स “एक बेहद ईमानदार लेखिका है जो कड़वी सच्चाइयों का सामना करने से नहीं डरती हैं।”

स्टाकहोम में पुरस्कार की घोषणा के बाद उन्होंने कहा, “वह उन चीजों के बारे में लिखती है जिनके बारे में कोई और नहीं लिखता है, उदाहरण के लिए अपने गर्भपात, अपनी ईर्ष्या, एक परित्यक्त प्रेमिका के रूप में अनुभव आदि। मेरा मतलब है, वास्तव में कठिन अनुभव।”

पुरस्कार मिलने के बाद एरनॉक्स ने कहा कि वह पुरस्कार पाकर बेहद खुश हैं लेकिन “हैरान नहीं हैं”। बतौर पुरस्कार उन्हें एक करोड़ स्वीडिश क्रोनर (करीब 9,00,000 अमरीकी डालर) की रकम भी मिलेगी।

पेरिस के पश्चिम में स्थित कस्बे केर्गी में अपने घर के बाहर जुटे पत्रकारों से उन्होंने कहा, “मैं बहुत खुश हूं, गौरवान्वित हूं। वोएला, बस।”

फ्रांसीसी राष्ट्रपति एमैनुएल मैक्रों ने ट्वीट किया, “एनी एरनॉक्स 50 वर्षों से हमारे देश की सामूहिक और अंतरंग स्मृति पर उपन्यास लिख रही हैं। उनकी आवाज महिलाओं की आजादी और सदी की भूली-बिसरी आवाजों की है।” एरनॉक्स साहित्य का नोबेल जीतने वाली पहली फ्रांसीसी महिला लेखिका हैं और कुल 119 नोबेल साहित्य पुरस्कार प्राप्त करने वालों में शामिल 17वीं महिला हैं।

“ला प्लेस” (एक पुरुष की जगह) से सुर्खी पाने वाली एरनॉक्स ने इसमें पिता के साथ अपने संबंधों के बारे में लिखा है : “कोई गीतात्मक स्मरण नहीं, विडंबना का कोई उत्साहजनक प्रदर्शन नहीं। यह तटस्थ लेखन शैली मुझमें स्वाभाविक रूप से है।”

आलोचकों के बीच में बेहद सराही गई उनकी किताब “द इयर्स” 2008 में प्रकाशित हुई थी और इसमें उन्होंने द्वितीय विश्व युद्ध के अंत से लेकर आज तक खुद का और व्यापक फ्रांसीसी समाज का वर्णन किया है। अपनी पूर्व की किताबों से इतर एरनॉक्स ने “द इयर्स” में तीसरे व्यक्ति के तौर पर अपने बारे में लिखा है और अपने चरित्र को “मैं” की जगह “वह” कहकर संबोधित किया है। किताब को कई पुरस्कार और सम्मान मिले हैं। यह पुरस्कार 10 दिसंबर को प्रदान किए जाएंगे। 

एनडीटीवी के अनुसार, एनी एरनॉक्‍स (Annie Ernaux) की पहली किताब लेस अरमोरिस वीदेस (Les armoires vides) थी. साल 1974 में आई इस किताब का 1990 में 'क्लीन्ड आउट" के नाम से अनुवाद हुआ। इन कामों में उन्होंने अपनी नॉरमन पृष्ठभूमि को खंगाला लेकिन 1983 उनकी चौथी किताब ला प्लेस का का 1992 में ए मैन्स प्लेस के तौर पर अनुवाद हुआ और यहीं से साहित्य जगत में उन्होंने बड़ी सफलता पाई। करीब 100 पृष्ठों में उन्होंने अपने पिता की छवि उकेरी है जिससे उन्हें लिखने पर मजबूर किया।

अमर उजाला के मुताबिक, एनी (82) ने जीवनी लिखने से अपने लेखन करियर की शुरुआत की थी, लेकिन जल्द ही उन्होंने संस्मरण लिखना आरंभ कर दिया। उन्होंने 20 से अधिक किताबें लिखी हैं और इनमें से अधिकांश उनके अपने जीवन और उनके आस-पास के लोगों के जीवन की छोटी घटनाओं पर आधारित हैं। साहित्य के लिए नोबेल समिति के अध्यक्ष एंडर्स ओल्सन ने कहा, अर्नो का काम एकदम स्पष्ट भाषा में साफ-सुथरा है और रचनात्मकता से किसी भी तरह का समझौता नहीं करता है। उनका काम सराहनीय है। उनकी शैली भावनाओं के तेज आवेग से अप्रभावित है। एनी अर्नो ने खुद कहा है कि यह तटस्थ लेखन शैली मुझे स्वाभाविक रूप से मिली है।

‘द इयर्स’ सबसे प्रशंसनीय पुस्तक : अर्नो की समीक्षकों द्वारा सबसे प्रशंसित पुस्तक ‘द इयर्स’ रही जो 2008 में प्रकाशित हुई थी। यह द्वितीय विश्व युद्ध के अंत से लेकर आज तक का फ्रांसीसी समाज का वातावरण प्रदर्शित करती है। इस पुस्तक को कई पुरस्कार और सम्मान मिले हैं।

किराने की दुकान चलाते थे माता-पिता : फ्रांसीसी लेखिका का जन्म 1940 में हुआ और वह नॉर्मंडी के छोटे से शहर यवेटोट में पली-बढ़ीं। उनके माता-पिता एक किराने की दुकान और कैफे चलाते थे। उनके लेखन में मध्यमवर्गी परिवार की सामाजिक स्थिति स्पष्ट रूप से झलकती है।

भाषा का प्रयोग ‘चाकू’ के रूप में :  एनी लगातार विभिन्न तरीकों से लिंग, भाषा और वर्गों के आधार पर फैली असमानताओं पर लेखन करती रही हैं। लेखन का उनका मार्ग लंबा और कठिन रहा। नोबेल विजेता एनी का मानना है कि लेखन वास्तव में एक राजनीतिक कार्य है, जो सामाजिक असमानताओं के प्रति हमारी आंखें खोलता है। इस उद्देश्य के लिए वह भाषा का प्रयोग एक ‘चाकू’ के रूप में करती है, जिससे कि वह कल्पना के पर्दों को फाड़ सकें।

विदित हो कि तंजानिया के साहित्यकार अब्दुलरज़ाक को साल 2021 के लिए साहित्य का नोबेल पुरस्कार दिया गया था स्वीडिश अकादमी ने गुनराह की 'बिना समझौता किए और दयाभाव से की गई उपनिवेशवाद के प्रभावों की व्याख्या' के लिए तारीफ़ भी की थी। स्वीडिश अकादमी नोबल पुरस्कार में विजेता को एक करोड़ स्वीडिश क्राउन देती हैं जो करीब 11 लाख चालीस हज़ार डॉलर के बराबर होते हैं

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